एफपीओ प्रकोष्ठ सहकार भारती का पटना में हुआ प्रथम राष्टीय अधिवेशन
विश्व की तीसरी बड़ी अर्थव्यवस्था बनने के लिए किसानों की समृद्धि जरूरी है। किसानों की आय बढ़ाना चुनौती है लेकिन एफपीओ व अन्य सहकारी समितियों के जरिये इसे साकार किया जा सकता है। बिना संस्कार नही सहकार,बिना सहकार नही उद्धार के उद्देश्य को लेकर शनिवार व रविवार को दो दिवसीय प्रथम राष्ट्रीय अधिवेशन एफपीओ प्रकोष्ठ सहकार भारती का अधिवेशन पटना के उर्जा ऑडिटोरियम में सम्पन्न हुआ।जिसमें सहकार भारती छत्तीसगढ़ प्रदेश अध्यक्ष डॉ लक्ष्मीकांत द्विवेदी, के नेतृत्व में प्रदेश महामंत्री करुणा निधि यादव,संजय वस्त्रकर प्रदेश मंत्री,प्रदेश एफपीओ प्रकोष्ठ प्रमुख सतेंद्र सिंह,नरोत्तम कुमार साहू कृषि अर्थशास्त्री एवम कृषि विशेषज्ञ ,जिला महामंत्री धमतरी, हिरेंद्र साहु,संयोजक सहकार भारती धमतरी,आनंद शर्मा तुषरा,सरगुजा विभाग प्रमुख वासने जायसवाल , बलरामपुर जिला अध्यक्ष लल्लन यादव जी,सारंगढ़ एफपीओ कौशल पटेल,दिलेश्वर पटेल इस तरह छत्तीसगढ़ के पांचों संभाग के प्रतिनिधि प्रदेशाध्यक्ष के नेतृत्व में सहकार भारती का प्रथम राष्ट्रीय अधिवेशन में सम्मिलित हुए।सम्मेलन में केंद्रीय कृषि मंत्री राजनाथ सिंह ठाकुर,कृषि मंत्री मंगल पांडेय,सहकारिता मंत्री डॉ प्रेम कुमार एफपीओ प्रकोष्ठ पी आर मुरलीधरन सहकार भारती के राष्ट्रीय अध्यक्ष दीनानाथ ठाकुर,राष्ट्रीय संगठन महामंत्री डॉ उदय जोशी,राष्ट्रीय संगठन मंत्री संजय पाचपोर आदि उपस्थित रहे।अधिवेशन में एफपीओ,एनसीडीसी,नाफेड,नाबार्ड,इनर्जी कन्सेप्शन आदि प्रमुख कृषि उत्पाद,वनोपज को कृषि व सहकारिता को पोषित,संवर्धन एवम प्रोत्साहित करने वाली राष्ट्रीय स्तर की संस्थाओं के प्रमुख प्रतिनिधयों ने एकमत से ऊर्जा ऑडिटोरियम में सहकार भारती के एफपीओ प्रकोष्ठ के पहले राष्ट्रीय अधिवेशन के उद्घाटन सत्र में सभी वक्ताओं का जोर किसानों की आर्थिक संपन्नता पर रहा। व एफपीओ को सभी प्रकार से सहयोग देने की प्रतिबद्धता प्रकट किया।सम्मेलन में भारत के 22 प्रदेश से आये हुए एफपीओ द्वारा सफलता की कहानी साझा करने से उपस्थित सभी का मार्गदर्शन व प्रोत्साहित करने का कार्य किया।इसमे सहकार भारती छत्तीसगढ़ एफपीओ प्रकोष्ठ प्रमुख सतेन्द्र सिंह द्वारा राज्य में चल रहे एफपीओ के माध्यम से किसानों के आर्थिक विकास पर विस्तृत जानकारी दी,उनके बस्तर से बाज़ार तक वनोपज के मॉडल को सभी ने सराहा एवम अन्य सम्मानित एफपीओ द्वारा प्रस्तुतिकरण दिया गया।समापन सत्र में महामहिम राज्यपाल राजेन्द्र विश्वनाथ आरलेकर बिहार के द्वारा अपने उद्बोधन में एफपीओ के महत्व किसान की समृद्धि में प्रतिबद्धता व सभी को शुभकामनाएं दिए।