गंजेडिय़ो के जमघट और हरकतों से परेशान है शहर वासी
बात-बात पर गाली गलौज और मारपीट चाकू बाजी पर उतारू हो जाते हैं गंजेड़ी
आसानी से उपलब्ध हो रहा गांजा, गंजेडिय़ो के साथ विक्रेताओं पर कार्रवाई जरूरी
धमतरी । पुलिस जुआ सट्टा अवैध शराब पर रोक लगाने लगातार कार्यवाही रही है लेकिन जब शहर और ग्रामीण क्षेत्रों में बिकने वाले गांजा की बात आती है तो पुलिस पर नाकामी और निष्क्रियता के आरोप लगते हैं जिस प्रकार शहर सहित ग्रामीण क्षेत्रों में गंजेडिय़ो की संख्या लगातार बढ़ रही है और उनके हरकतों से लोग परेशान हो रहे हैं ऐसे में गंजेडिय़ो की हरकतों पर अंकुश लगाने और गांजा विक्रेताओं पर कार्यवाही की मांग हो रही है। ज्ञात हो कि शहर के अधिकांश तालाबों के किनारे सूने मार्गो पेड़ के नीचे आदि स्थानों पर नशेड़ी युवकों का झुंड लगा रहता है। उक्त युवक ज्यादातर गांजा व नशीली दवाइयों का सेवन करते बैठे रहते हैं और अपने में मस्त रहते हैं कई आपस में ही उलझ जाते हैं फिर गाली गलौज मारपीट की भी नौबत आ जाती है गंजेडिय़ो के रोजाना जमघट से आसपास के लोगों, राहगिरो को काफी परेशानियां का सामना करना पड़ता है।
नशेडिय़ों द्वारा बाकायदा घोषित अड्डा बनाकर ग्रुप में रोज दिन में कई बार गांजा पीते हैं यदि कोई उन्हें मना करने का साहस दिखाएं तो वह उनसे ही उलझने का प्रयास करते हैं लोगों की माने तो यह अधिकांश नशेड़ी युवक अपने पास धारदार हथियार भी रखते हैं और मामूली बातों पर वार करने से भी परहेज नहीं करते हैं इनकी हरकतों से सभ्य और सीधे लोगों का जीना मुहाल हो गया है कुछ लोगों द्वारा गंजेडिय़ो के कारण रास्ता भी बदल दिया गया है। लोग सवाल उठा रहे हैं कि पुलिस भाला गंजेडियों पर कार्रवाई क्यों नहीं करती महीनो में एकात बार रेंडम चेकिंग की जाती है और उस दौरान भी पकड़े जाने वाले संदिग्धों को वार्निंग देकर औपचारिकता पूरी कर छोड़ दिया जाता है जबकि नियमित रूप से संवेदनशील जगहों पर पुलिस को दबिश देना चाहिए. ताकि उनके जमघट से आम जनता को राहत मिल पाए। लोगों का यह भी कहना है कि शहर में गंजेडिय़ो को आसानी से गांजा उपलब्ध हो रहा है। 4-5 ऐसे चर्चित लोग हैं जो सालों से सिर्फ गांजा बेचने का कार्य कर रहे हैं। शहर के सभी गंजेडिय़ो को इनके नाम और एड्रेस पता है । जिन वार्डों में यह गांजा बेचते हैं वहां भी सबको इसकी जानकारी है लेकिन दुश्मनी के डर से लोग कुछ बोल नहीं पाते हैं। विडंबना यह है कि पुलिस कार्यवाही के लिए शिकायत के इंतजार में बैठी रहती है जबकि खुलेआम बिक रहे गांजे पर रोक लगाने कार्यवाही नहीं कर रही है इससे कानून-व्यवस्था बिगडऩे के साथ ही अपराधों को बढ़ावा और संरक्षण में रहा है।