भाजपाईयों ने लगाया आरोप शौचालयो में सूचक साइन बोर्ड लगाए बिना निकाल लिए गए पांच लाख रुपए, तथ्य छुपाने 14 लाख रुपए का ओवर स्टीमेट बिलिंग कर 65 प्रतिशत किये फाईन
रँजना साहू
जनहित में लापरवाही कतई बर्दाश्त नहीं, दोषियों पर जवाबदेही सुनिश्चित करते हुए कार्यवाही करने अधिकारियों को लिखेंगे पत्र -:
महापौर के 45 महीनो का कार्यकाल अनेक घोटालों की भेट चढ जाने से नगर निगम जनता के सामने हो गया शर्मसार, नैतिकता के नाते दे इस्तीफा-: नरेंद्र रोहरा
स्वच्छता ही सेवा है की भावना को कांग्रेस जनप्रतिनिधियों की कार्यप्रणाली ने किया कलंकित -: विजय मोटवानी
धमतरी । स्वच्छ भारत मिशन के तहत सार्वजनिक सुलभ शौचालयो में सूचक साइन बोर्ड जनसुविधा के लिए लगाया जाना सुनिश्चित किया गया था। लेकिन नगर निगम के जिम्मेदार अधिकारियों के द्वारा फिर एक बार भ्रष्टाचार करते हुए उक्त कार्य को तो नहीं किया गया ,परन्तु बिना काम हुए 5 लाख रूपये निकाल कर डकार गए ,इस बात की जानकारी क्षेत्र के जागरुक एवं संवेदनशील विधायक रंजना साहू जब निगम क्षेत्र के अनेक वार्डों में स्थित शौचालय की दुर्दशा की शिकायत पर वस्तुस्थिति का जायजा लेने के लिए नेता प्रतिपक्ष नरेंद्र रोहरा, मुखर पार्षद विजय मोटवानी, पार्षदगणों में श्यामलाल नेताम, अज्जू देशलहरे,प्राची सोनी,सरिता असाई,नीलू डागा, समाजसेवी विजय साहू ,जय हिन्दूजा के साथ मौके पर पहुंची और वहां पाया गया कि शौचालय में भारी अव्यवस्थाएं स्वच्छता के पुनीत उद्देश्य को अमलीजामा पहनाने के लिए साइन बोर्ड लोहे के एंगल में लगाकर निर्धारित मेटल सीट पर लगाया जाना सुनिश्चित किया गया था बाकायदा इसके लिए पी.डब्लू. डी. का एस.आर.ओ. दर को आधार बनाया गया था लेकिन इस दिशा में कोई भी कार्य नहीं हुआ बल्कि 5 लाख की राशि निकालकर निगम को चूना लगा दिया गया है इस कारनामे को ढकने के लिए बाकायदा ओवर स्टीमेट बिल 14 लाख 17 हजार 295 रुपये का फर्जी बिल बनाया क्या जिस पर मिली भगत करते हुए 65 प्रतिशत की राशि नियम विरुद्ध कार्य होना बताकर फाइन लगाकर शेष राशि का भुगतान कर निगम की आर्थिक क्षति की गई है । जो के पूरे निगम क्षेत्र में दिए गए स्टीमेट का कार्य न होने के कारण भारतीय दंड संहिता की विभिन्न धाराओ के अंतर्गत अपराध की श्रेणी में आता है।
विधायक रंजना साहू ने बताया कि आम जनता से निरंतर बुनियादी सुविधाओं की निगम के द्वारा बरती जा रही लापरवाही की शिकायत पर जनप्रतिनिधियों के साथ में निरीक्षण के लिए जनहित में निकले थे जिसमें लापरवाही कतई बर्दाश्त नहीं किया जावेगा, ऐसे कार्यों के लिए जवाबदेही तय करते हुए कार्रवाई सुनिश्चित करने हेतु निर्देश दे दिए गए हैं। नगर निगम के नेता प्रतिपक्ष नरेंद्र रोहरा ने उक्त जनविरोधी कार्य के लिए कलेक्टर तथा निगम कमिश्नर से कार्रवाई की मांग करते हुए कहा है कि महापौर 45 महीनों के कार्यकाल में अनेक घोटाले हुए ऐसे में नैतिकता के नाते उन्हें इस्तीफा दे देना चाहिए। पार्षद विजय मोटवानी ने कहा है कि पूरा देश स्वच्छता ही सेवा है की भावना को अपने में आत्मसात करते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के साथ खड़ा है लेकिन हमारे निगम के महापौर सहित जिम्मेदार सत्ता पक्ष के जनप्रतिनिधियों की कार्यप्रणाली ने इस पवित्र भावना को कलंकित कर दिया है जिसके लिए उन्हें इतिहास कभी माफ नहीं करेगा।