जल चित्र कला प्रदर्शनी देख दर्शक हुए मंत्र मुग्ध
मुख्यमंत्री, उप मुख्यमंत्री ने लिख कर दी कलाकारों को शुभकामनाएं
धमतरी। जल जगार महोत्सव में विगत 5 एवं 6 अक्टूबर को अनेक ऐसे कार्यक्रम हुए जो धमतरी में पहले कभी अयोजित नही हुए थे। क्षेत्र के निवासियों के लिए ये एक अभूतपूर्व अनुभव था। जल जगार महोत्सव के उद्देश्य को ही लेकर गंगरेल में एक कला प्रदर्शनी लगाई गई। इस प्रदर्शनी में छत्तीसगढ़ ही नही अपितु देश के अलग अलग हिस्सों से आए कलाकारों ने अपनी आकर्षक कलाकृतियों की प्रदर्शनी लगाई। इस कला प्रदर्शनी में लगाई गई कलाकृतियों में मुख्य रूप से जल संरक्षण, ग्राम्य जीवन, अनोखा छत्तीसगढ़ एवं सुरम्य पर्यावरण को दर्शाती अनेक कृतियां दर्शकों के आकर्षण का केंद्र रही।
भारतीय विरासत संस्थान दिल्ली से आई आर्ट हिस्टोरियन एवं जल चित्र कला प्रदर्शनी की मुख्य क्यूरेटर देशना कविंद्र जैन ने बताया कि बहुत कम समय में इतने सारे कलाकारों को जोड़कर ये प्रदर्शनी आयोजित करना थोड़ा मुश्किल था परंतु कलेक्टर ने मुझे हिम्मत दी और चूंकि धमतरी मेरा अपना शहर है इसलिए ये कर पाना संभव हो पाया। उन्होंने बताया कि उनके साथ उनके सहयोगी क्यूरेटर शुभम, जयांश, आस्था, जय प्रकाश ने पूरा कार्यक्रम डिजाइन करने में उनकी मदद की। कुरूद निवासी चिरायु कुमार सिन्हा जो कि कला के क्षेत्र में अंतरराष्ट्रीय स्तर पर छत्तीसगढ़ का नाम रौशन कर चुके हैं उनका भी सहयोग मिला।
इंदिरा कला एवं संगीत महाविद्यालय खैरागढ़, शांति निकेतन कोलकाता एवं बड़ौदा, बस्तर जैसे अलग अलग स्थानों से आए कलाकारों का भी उन्होंने आभार किया कि उन्होंने अपनी कला यहां प्रदर्शित की। खैरागढ़ से विशेष रूप से पंडवानी गायन हेतु अपनी टीम लेकर पहुंचे हर्ष चंद्राकर, फोटोग्राफी के विद्यार्थी कुशांक का भी विशेष योगदान रहा। सुश्री जैन ने छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री विष्णु देव साय एवं उप मुख्यमंत्री माननीय अरुण साव को विशेष रूप से धन्यवाद किया क्योंकि उन्होंने न सिर्फ हम सभी कलाकारों का उत्साहवर्धन किया अपितु अपने हाथों से शुभकामना संदेश लिख कर सभी के उज्ज्वल भविष्य की कामना की।