गंगरेल बांध में हुआ साढ़े 23 टीएमसी जल भराव, हो रही 8888 क्यूसेक पानी की आवक
32.150 टीएमसी है गंगरेल बांध की क्षमता, 18.313 टीएमसी है उपयोगी पानी
बाध को लबालब होने के लिए है अच्छी बारिश का इंतजार
जुलाई माह में अब तक 5 टीएमसी पानी की हो चुका है आवक
धमतरी। गंगरेल बांध प्रदेश का दूसरा सबसे बड़ा बांध है इस बांध के पानी से लाखों हेक्टेयर फसल की सिंचाई होती है पेयजल बिजली निर्माण में भी पानी उपयोग में लाया जाता है। बीएसपी के लिए तो गंगरेल बांध का पानी लाइफ लाइन के समान है इसलिए बारिश के मौसम में बांध को लबालब होना आवश्यक रहता है। बांध को लबालब होने के लिए अच्छी बारिश का इंतजार है। इस सीजन में अब तक बांध में जलभराव की गति धीमी है। मिली जानकारी के अनुसार गंगरेल बांध की जल संग्रहण क्षमता 32.150 टीएमसी है वर्तमान में बांध में 23.384 टीएमसी पानी है जिसमें 18.313 टीएमसी उपयोगी पानी है बांध का वाटर लेवल 345.82 मीटर है बीते 24 घंटे में बांध के कैचमेंट में 11 मिलीमीटर वर्षा दर्ज की गई है वहीं 1 जून से अब तक बांध के कैचमेंट एरिया मे 401 मिमी वर्षा हुई है बांध में पानी की आवक 8888 क्यूसेक पानी की आवक हो रही है उक्त आंकड़े 23 जुलाई सुबह 11 बजे के हैं। बता दें कि 1 जुलाई को बांध में कुल पानी 18.23 टीएमसी उपयोगी पानी 13.552 टीएमसी था। बांध का लेवल 344.2 मीटर था इस प्रकार जुलाई के 23 दिनों में अब तक गंगरेल बांध में 5 टीएमसी पानी की आवक हुई है।
बता दें कि गंगरेल बांध के पानी से धमतरी रायपुर नगर निगम को पेयजल सप्लाई किया जाता है सिंचाई हेतु पानी दिया जाता है। आधा दर्जन से अधिक जिले का रकबा गंगरेल बांध के पानी पर निर्भर है निस्तारी, तालाबों को भरने हेतु भी बांध से आवश्यकतानुसार पानी छोड़ा जाता है। भिलाई स्टील प्लांट के लिए पानी का कोटा निर्धारित है इसके बिना प्लांट का संचालन संभव नहीं हो पाएगा ऐसे में गंगरेल बांध बहुउद्देशीय परियोजना है कांकेर केशकाल क्षेत्र में वर्षा होने पर गंगरेल बांध में पानी की आवक होती है लेकिन अभी तक इन क्षेत्रों में भी पर्याप्त वर्षा नहीं हो पाई है जिससे बांध में आवक कम है जावक नील है।