गंगरेल बांध में हो रही 11944 क्यूसेक पानी की आवक, 54 प्रतिशत हुआ जलभराव, सुधरी बांध की स्थिति
बीते चार दिनों में गंगरेल बांध में आया 11 टीएमसी पानी 17.421 टीएमसी हुआ जलभराव
धमतरी। लगातार पांच दिनों से प्रदेश भर में हो रही है। अच्छी वर्षा से जिले के बांधो की स्थिति भी सुधर रही है। प्रदेश की जीवनदायिनी कहे जाने वाली महानदी पर बने गंगरेल बांध जो कि सूखने के कगार पर था अब पानी की आवक से जल भराव तेजी से हो रहा है। मिली जानकारी के अनुसार आज दोपहर 12 बजे की स्थिति में गंगरेल बांध में 11944 क्यूसेक प्रतिसेकंड पानी की आवक हो रही थी। बांध की क्षमता 31.150 टीएमसी है। समाचार लिखे जाने तक बांध में 17.421 टीएमसी जल भराव हो चुका था। जिसमें उपयोगी पानी 12.350 टीएमसी है। बांध से जावक नील है। बांध का लेवल 343.48 मीटर है। प्रति घंटा बांध का लेवल 2 सेंटीमीटर बढ़ रहा है। बाध में अब तक 54 प्रतिशत से ज्यादा जलभराव हो चुका है। बांध के कैंचमेंट एरिया में पिछले सप्ताह भर में अच्छी बारिश हुई है। इसलिए आकड़ा बढ़ते हुए 1 जून से अब तक कैंचमेंट एरिया में 564 मिलीमीटर वर्षा हो चुकी है।
22-23 जुलाई की रात्रि हुई थी सर्वाधिक 90 हजार क्यूसेक पानी की आवक
मानसून के शुरुवात में गंगरेल बांध पूरी तरह आवक के लिए तरसते रहा। लेकिन सप्ताह भर से आवक लगातार हो रही है। बीते दिनों 400 क्यूसेक से लेकर 90 हजार क्यूसेक तक पानी की आवक पहुंची। सर्वाधिक आवक 22-23 जुलाई के रात्रि 2 बजे 90 हजार क्यूसेक हुई। लेकिन इसके बाद आवक धीरे-धीरे घटती गई जो लगभग 12 हजार क्यूसेक रह गई है।
अच्छी बारिश से अन्य बांधो का बढ़ा जलस्तर
जिले के बांधो के कैचमेंट एरिया में अच्छी बारिश से बांधो का जलस्तर बढ़ रहा है। माड़मसिल्ली बांध में 53 फीसदी जलभराव हो चुका है वहीं दुधावा में 43 फीसदी व सोंढुर बांध में 47 फीसदी जलभराव हो चुका है। माड़मसिल्ली बांध में जल भराव क्षमता 5.839 है। वर्तमान में ग्रास केपेसिटी 3.080 टीएमसी, लाईव केपेसिटी 2.9 टीएमसी। दुधावा बांध में जलभराव की क्षमता 10.192 टीएमसी, ग्रास केपेसिटी 4.360 टीएमसी, लाईव केपेसिटी 4.200 टीएमसी तथा सोंढुर बांध में जल भराव क्षमता 6.995 टीएमसी, ग्रास केपेसिटी 3.559 टीएमसी व लाईव केपेसिटी 2.910 टीएमसी रिकार्ड किया गया।